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अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है

अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है
इस प्रतिबंध के चलते भारतीय कंपनियों को रूस से उत्पादों को खरीदने में दिक्कत रही थी और यह भी एक बड़ी वजह रही, जिसके चलते आरबीआई को इंपोर्ट के भुगतान के लिए वैकल्पिक तरीकों पर विचार करने पर मजबूर होना पड़ा।

IITF 2022

राष्ट्रीय अर्थव्यवस्था की जीवन रेखाएँ

राज्य और देशों के बीच वस्तुओं का आदान-प्रदान व्यापार कहलाता है।
एक देश में दो स्थानों पर वस्तुओं का आदान-प्रदान स्थानीय व्यापार कहलाता है अर्थात् देश की सीमा के भीतर किया गया व्यापार स्थानीय व्यापार के अंतर्गत आता है। ये नगरों और गॉंवों के बीच होता है। जबकि दो देशों के बीच वस्तुओं का आदान-प्रदान अंतर्राष्ट्रीय व्यापार कहलाता है अर्थात् देश की सीमा में रहकर देश से बाहर किया गया व्यापार अंतर्राष्ट्रीय व्यापार के अंतर्गत आता है।

निम्नलिखित में से पर्यावरण का कौन-सा साधन वहनांतरण हानियों तथा देरी को घटता है?

परिवहन और संचार के साधन किसी देश की जीवन रेखा तथा अर्थव्यवस्था क्यों कहे जाते हैं?अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है

परिवहन तथा संचार के साधन किसी देश की जीवन रेखा कहे जाते हैं क्योंकि देश में लोगों, तकनीकी आदि का प्रवाह इन्ही पर निर्भर करता है। माल और वस्तुओं को परिवाह के बिना एक स्थान से दूसरे स्थान पर पहुँचना कठिन है। परिवाह का देश की अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण योगदान है ये प्रत्यक्ष तथा अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है अप्रत्यक्ष रुप से परिवहन को प्रभावित करते है। स्थल परिवहन, रेल परिवहन, जल परिवहन तथा वायु परिवहन देश के अर्थव्यवथा के लिए अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है तो महत्वपूर्ण है। साथ ही ये व्यक्ति के प्रतिदिन की जीवन रेखा को भी प्रभावित करती है। सड़क और रेल परिवहन, वस्तुओं तथा यात्रियों के परिवहन का मुख्य साधन है। जल परिवहन परिवहन का सबसे सस्ता साधन है। यह भारी और स्थूलकाय वस्तुओं को ढोने के अनुकूल है। वायु मार्ग आज तीव्रतम, आरामदायक व प्रतिष्ठित परिवहन का साधन है। इसके माध्यम से अधिक दुर्गम स्थानों को सुगमता से पार किया जा सकता है। परिवहन या संचार के आभाव के कारण ही आज भी अनेक अफ्रीकी देश अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है आधुनिक विकास से अछूते है।

रुपये (₹) में अंतरराष्ट्रीय व्यापार के सेटलमेंट को केंद्र की अनुमति, जानें इसके फायदे

Rupees Allowed for International Trade Settlement: केंद्र सरकार ने 9 नवंबर (बुधवार) को विदेश व्‍यापार नीति के तहत निर्यात संवर्धन योजनाओं के लिए अंतरराष्‍ट्रीय व्‍यापार निकायों को भारतीय रुपए में लेनदेन की अनुमति दे दी है। वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ‘भारतीय रुपये के अंतर्राष्ट्रीयकरण करने की रुचि में वृद्धि को देखते हुए रुपये में अंतरराष्ट्रीय व्यापार के निपटाने को मंजूरी देने का फैसला लिया गया है।

वाणिज्‍य और उद्योग मंत्रालय के अनुसार भारतीय रुपए में अंतरराष्‍ट्रीय व्‍यापार संबंधी लेनदेन को सुगम और आसान बनाने के लिए यह निर्णय लिया गया है। इसका उद्देश्य घरेलू मुद्रा में व्यापार को सुगम बनाना और बढ़ावा देना है।

डॉलर पर कम होगी निर्भरता

RBI डॉलर पर निर्भरता कम करने के लिए रुपये में विदेशी कारोबार को बढ़ावा देना चाहता है। पिछले महीने RBI और वित्त मंत्रालय ने बैंकों और कारोबारियों के संगठनों के प्रतिनिधियों से रूपये में आयात-निर्यात लेनदेन को बढ़ावा देने को कहा था।

RBI ने विदेशों में कारोबार संबंधी दिशा-निर्देशों की घोषणा इस साल जुलाई में की थी। इसके बाद रूस के दो बैंकों ने भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) से अनुमति मिलने के बाद नई दिल्ली में विशेष ‘वोस्ट्रो खाते’ खोले हैं जिससे विदेश में रुपये में कारोबार संभव हो सकेगा। रूस के सबसे बड़े बैंक स्बरबैंक और दूसरे सबसे बड़े बैंक वीटीबी बैंक किसी अन्य देश के ऐसे पहले बैंक हैं जिन्हें रुपये में कारोबार करने की मंजूरी मिली है।

इससे पहले, RBI ने सार्वजनिक क्षेत्र के यूको बैंक को रूस के गैजप्रोमबैंक के साथ विशेष ‘वोस्ट्रो’ खाता खोलने की अनुमति दी थी। इस प्रकार का खाता होने से भारत तथा रूस के बीच व्यापार के लिए भुगतान रूपये में करने की सुविधा मिलेगी। इस तरह भारतीय मुद्रा में सीमापार व्यापार करना संभव हो पाएगा।

अमेरिकी डॉलर का 'दबदबा' तोड़ने के लिए RBI ने उठाया बड़ा कदम, अब रुपये में ही हो सकेगा अंतरराष्ट्रीय व्यापार का सेटलमेंट

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने सोमवार 11 जुलाई को कहा कि वह अंतरराष्ट्रीय व्यापार के रुपये में सेटलमेंट को लेकर एक सिस्टम बना रहा है। अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है RBI ने यह कदम रूस-यूक्रेन जंग के चलते भारतीय मुद्रा पर बढ़ते दबाव के बीच उठाया है। RBI ने कहा कि उसने ग्लोबल व्यापार के विकास को बढ़ावा देने और रुपये में दुनिया की बढ़ती दिलचस्पी को देखते हुए यह फैसला किया है।

रुपये अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है में अंतरराष्ट्रीय व्यापार के सेटलमेंट की सुविधा से भारत को कुछ ऐसे प्रतिबंधों को दरकिनार करने में मदद मिल सकती है, जो अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है कुछ खास देशों के साथ अमेरिकी डॉलर जैसी ग्लोबल करेंसी में व्यापार की इजाजत देने से रोकते हैं। उदाहरण के लिए, यूक्रेन पर रूस के हमले ने कई पश्चिमी देशों ने रूस पर आर्थिक प्रतिबंध लगा दिए थे। इसके चलते रूस बाकी देशों के साथ डॉलर में डील नहीं कर पा रहा है।

अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेला 2022

अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेला 2022

अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेला का आयोजन प्रत्येक वर्ष प्रगति मैदान पर किया जाता है जो कि भैरों रोड़, नई दिल्ली पर स्थित है। आईआईटीएफ ( प्दकपं प्दजमतदंजपवदंस ज्तंकम थ्ंपत ) दुनिया में सबसे बड़ा अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेलों मे से एक है।

अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेला प्रत्येक वर्ष अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है लाखों लोगों को आकर्षित करता है। इस मेले का आयोजन प्रत्येक वर्ष 14 दिनों तथा 14 नवंबर से 27 नवंबर तक किया जाता है। शुरू के कुछ दिन व्यापारियों के लिए तथा बाकि दिनों के लिए आम लोगों के लिए खुला होता है। इस मेले में भारत के सभी राज्य हिस्सा लेते है और अपने अपने राज्यों की प्रगति, संस्कृति, पर्यटक स्थल और व्यापार के बारें में जानकारी देते है।

वोकल फॉर लोकल, लोकल टू ग्लोबल है IITF 2022 की थीम

भारत का अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मेला प्रगति मैदान में एक बार फिर वापसी कर रहा है. India International Trade Fair (IITF 2022) को भारत के सबसे बड़े व्यापार आयोजन के रूप में जाना जाता है. इसके जरिए बड़े, छोटे और मध्यम स्तर के व्यापारी, सभी एक साथ एक छत के नीचे आते हैं और एक-दूसरे से सीखते हैं. यह आयोजन भारत व्यापार संवर्धन संगठन (ITPO) द्वारा किया जा रहा है.

प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी की 'आत्मनिर्भर भारत' दृष्टि को ध्यान में रखते हुए, इस वर्ष के IITF की थीम "वोकल फॉर लोकल, लोकल टू ग्लोबल" है. यह मेला 14 नवंबर से शुरू होगा और 27 नवंबर तक चलेगा. मेले में देश भर से 2,000 से अधिक अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है प्रदर्शक भाग लेंगे.

14 नवंबर से हो रहा है शुरू IITF 2022
IITF का 41वां संस्करण 14 नवंबर को प्रगति मैदान में शुरू होगा. IITF 2022 के व्यावसायिक दिन, 14 नवंबर से 18 नवंबर तक होंगे तो वहीं आम जनता के लिए सामान्य दिन 19 नवंबर से 27 नवंबर तक. इसका मतलब है कि 19 नवंबर से आम लोगों को मेला देखने की इजाजत होगी.

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