निवेश की रकम

इक्विटी = [100 - 30] = 70%
निवेश करना निवेश की रकम सीखें
निवेशन आपकी बचत को बढ़ाकर एक बड़े फण्ड में बदलने का एक तरीका है जिससे आपको अपने लक्ष्य हासिल करने में मदद मिल सकती है. लेकिन सवाल उठ सकता है कि निवेश क्यों करें जब कि हम अपने पैसे वर्तमान की चीजों पर खर्च कर सकते हैं? अपनी बचतों को निवेश करने से क्या फायदा होगा? इस आलेख में इन सारी बातों निवेश की रकम पर चर्चा की जाएगी.
आप जो पैसे कमाते हैं उसका क्या करते हैं? उन पैसों से आप दो काम कर सकते हैं, या तो खर्च कर दें, या उसकी बचत करें. कुछ खर्चे अनिवार्य होते हैं और वह करना ही होता है. भोजन पर खर्च, बिजली या टेलीफोन कनेक्शन जैसी सुविधाओंके लिए निवेश की रकम भुगतान करना ज़रूरी है. लेकिन मनमर्जी के ऐसे अनेक खर्च हैं जिनसे आपको थोड़ी देर के लिए तात्कालिक सुख मिल सकता है. उदाहरण के लिए, आप अपने दोस्तों या परिवार के साथ रात का खाना खाने बाहर जा सकते हैं या वस्तुएं खरीदने में पैसे खर्च कर सकते हैं. ऐसा करके आपको बेशक खुशी मिल सकती है, लेकिन वे आकस्मिक निधि के रूप में आपके हाथ में बची रकम को गटक जाता है. यह आपकी बचत को घटा देता है.
छोटी रकम से मोटी कमाई, जानिए कहां पा सकते हैं निवेश पर ऊंचे रिटर्न
अगर आप भी एफएंडओ में माहिर होना चाहते हैं और तेजी निवेश की रकम के साथ कमाई करना चाहते हैं तो आपको इसके बारे में अच्छी तरह से समझना होगा। आज हम आपको एफएंडओ की शुरुआती जानकारी देते हैं जिसके बाद आप इस मार्केट में आगे के लिए कदम बढ़ा सकते हैं।
नई दिल्ली, ब्रांड डेस्क। शेयर बाजार में कारोबार करने वाले शुरुआती निवेशकों के लिए सबसे बड़ा आकर्षण F&O का होता है। दरअसल बाजार में कई निवेशक F&O के जरिए कम रकम से ऊंचा मुनाफा पाने की कोशिश करते हैं और उसमें सफल भी होते हैं और ऊंचे रिटर्न की ये कहानियां आम निवेशकों को आसानी से प्रभावित भी करती हैं। हालांकि शेयर बाजार को समझने वाले जानते हैं कि एफएंडओ यानि Future and Option का फायदा तभी मिलता है जब आपको अच्छी तरह से जानकारी हो। अगर आप भी एफएंडओ में माहिर होना चाहते हैं और तेजी के साथ कमाई करना चाहते हैं तो आपको इसके बारे में अच्छी तरह से समझना होगा। आज हम आपको एफएंडओ की शुरुआती जानकारी देते हैं। जिसके बाद आप इस मार्केट में आगे के लिए कदम बढ़ा सकते हैं।
क्या होता है फ्यूचर?
Future एक डेरिवेटिव फाइनेंशियल कॉन्ट्रैक्ट होता हैं, जिसमें भविष्य के लिए पहले से तय समय और कीमतों पर किसी एसेट की खरीद और बिक्री का कॉन्ट्रैक्ट किया जाता है, फ्यूचर की सबसे बड़ी खासियत कॉन्ट्रैक्ट की शर्तों को पूरा करने की बाध्यता होती है। यानि अगर आपने फ्यूचर कॉन्ट्रैक्ट किया है, तो भले ही आप फ्यूचर के खरीदार है या विक्रेता है तो आपको तय समय और तय तारीख पर एसेट से जुड़ी खरीद या बिक्री की शर्त पूरी करनी होगी, भले ही आपको उसमें नुकसान क्यो न हो रहा हो। हालांकि आप इस कॉन्ट्रैक्ट को इस अवधि में ट्रेड कर सकते हैं, यानि किसी तीसरे को बेच सकते हैं, जिससे आप शर्त पूरी करने की बाध्यता से बच सकें। इसे ही फ्यूचर ट्रेडिंग कहते हैं।
क्या होता है ऑप्शन?
Option भी फ्यूचर की तरह ही होतें हैं लेकिन फ्यूचर की तरह इसमें शर्त पूरी करने की बाध्यता नहीं होती. यानि आप चाहें तों एसेट की खरीद या बिक्री जो भी आपने शर्त रखी हो उससे पीछे हट सकते हैं. यानि इस डेरिवेटिव फाइनेंशियल कॉन्ट्रैक्ट में ऑप्शन दिया जाता है। हालांकि इस ऑप्शन की एक कीमत होती है जिसे प्रीमियम कहा जाता है। यानि अगर आप एसेट की खरीद या बिक्री की शर्त से पीछे हटते हैं तो आपको ये प्रीमियम रकम छोड़नी होगी। बाजार के निवेशक घाटे का बड़ा सौदा करने की जगह प्रीमियम छोड़ना ज्यादा बेहतर समझते हैं. इसलिए ये रणनीति छोटे नुकसान की मदद से बड़ा नुकसान बचाने में मदद करती है। ऑप्शन दो तरह के होतें हैं कॉल ऑप्शन और पुट ऑप्शन। कॉल ऑप्शन में ऑप्शन खरीदार के पास एसेट की खरीद का ऑप्शन मिलता है, वहीं पुट ऑप्शन में ऑप्शन खरीदार के पास एसेट बेचने का ऑप्शन होता है।
60 के बाद ठाठ करना है तो अपनाइए निवेश के ये 7 फॉर्मूला, जाने कैसे चौगुनी होगी रकम
नई दिल्ली, हर्ष जैन। सही निवेश का चयन और मनचाहा रिटर्न देने वाली किसी निवेश निवेश की रकम योजना को तैयार करना कठिन काम हो सकता है। कुछ सामान्य नियम हैं जिनका इस्तेमाल निवेश में किया जाता है। ये सामान्य नियम काफी मदद कर सकते हैं, लेकिन ये नियम किसी उत्पाद में निवेश करने या नहीं करने के प्राथमिक आधार नहीं होने चाहिए। इसमें छिपी हुई बात ब्याज दर है। कोई भी निवेश उत्पाद आपको आने वाले वर्षों में ब्याज दर की शत-प्रतिशत गारंटी नहीं दे पाएगा। फिर भी, ये सामान्य नियम सूचनात्मक दिशानिर्देशों के रूप में काम कर सकते हैं। निवेश के लिए कुछ सामान्य नियमों के बारे में अधिक जानने के लिए आगे पढ़ें।
निवेश की रकम
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जब धन अपने का n गुना हो जाय
जब धन अपने का n गुना हो जाय
निवेश से सम्बन्धित एक योजना में निवेश की राशि 8 वर्षों में तिगुना करने की घोषणा की गयी है। तदनुसार, यदि उसी योजना के अन्तर्गत आप अपनी राशि को चार गुना करना चाहें, तो आपको अपना निवेश कितने वर्षों के लिए करना होगा?
हाइलाइट्स
सरकारी कर्मचारी अब से जीपीएफ में सालाना 5 लाख रुपये से अधिक नहीं डाल पाएंगे.
अगले वित्त वर्ष से हर महीने किए जाने वाले योगदान के नियमों में भी बदलाव किया जाएगा.
अस्थ्थायी सरकारी कर्मी एक साल लगातार काम करने के बाद इसमें योगदान कर सकते निवेश की रकम हैं.
नई दिल्ली. जीपीएफ (जनरल प्रोविडेंट फंड) योजना पीपीएफ (पब्लिक प्रोविडेंट फंड) जैसी एक स्कीम है जिसका इस्तेमाल सरकारी कर्मचारी करते हैं. अब इसमें अधिकतम वार्षिक निवेश पर लिमिट लगा दी गई है. जारी वित्त वर्ष से जीपीएफ खाताधारक वर्ष में 5 लाख रुपये से अधिक जमा नहीं कर पाएंगे. पेंशन और पेंशनभोगी कल्याण विभाग (डीओपीपीडब्ल्यू) ने इस संबंध में एक आदेश जारी किया है.
गौरतलब है कि पीपीएफ पर पहले से ही यह सीमा लागू है. पीपीएफ में आप अधिकतम 1.5 लाख रुपये का वार्षिक निवेश कर सकते हैं. इससे पहले सरकार ने जीपीएफ से मिलने वाले 5 लाख रुपये से अधिक के ब्याज को टैक्स के दायरे में कर दिया था.